ब्रह्माकुमारीज की अनूठी और सराहनीय पहल: ब्रह्माकुमारीज का मानसरोवर कोविड सेन्टर में 500 मरीजों का होगा इलाज, प्रेम निवास तथा आत्म दर्शन में संक्रमितों की संख्या बढ़ने पर ब्रह्माकुमारीज ने की पहल

सिरोही जिले में तेजी से बढ़ते कोरोना मरीजों की संख्या को देखते हुए उनके बेहतर इलाज के लिए संभाग का सबसे बड़ा ब्रह्माकुमारीज संस्थान का किवरली स्थित मानसरोवर आईसोलेशन सेन्टर के गुलशन बिल्डिंग में पुन: शुक्रवार से प्रारम्भ हो जाएगा। इमें आठ सौ बेड है फिलहाल पांच सौ बेड शुरू किए जाएंगे

ब्रह्माकुमारीज का मानसरोवर कोविड सेन्टर में 500 मरीजों का होगा इलाज, प्रेम निवास तथा आत्म दर्शन में  संक्रमितों की संख्या बढ़ने पर ब्रह्माकुमारीज ने की पहल

आबू रोड/सिरोही।
सिरोही जिले में तेजी से बढ़ते कोरोना मरीजों की संख्या को देखते हुए उनके बेहतर इलाज के लिए संभाग का सबसे बड़ा ब्रह्माकुमारीज संस्थान का किवरली स्थित मानसरोवर आईसोलेशन सेन्टर के गुलशन बिल्डिंग में पुन: शुक्रवार से प्रारम्भ हो जाएगा। इमें आठ सौ बेड है फिलहाल पांच सौ बेड शुरू किए जाएंगे। इससे पूर्व ब्रह्माकुमारीज संस्थान ने कुछ दिन पूर्व ही तलहटी स्थित प्रेम निवास तथा आत्म दर्शन भवन उपलब्ध कराया था। इसमें कोरोना मरीजों का इलाज चल रहा था। 235 बेड वाले इन दोनो भवनों में इलाज चल रहा था। लेकिन संख्या ज्यादा होने के कारण ब्रह्माकुमारीज संस्थान ने पहल करते हुए किवरली स्थित मानसरोवर आईसोलसन केन्द्र को प्रशासन को मुहैय्या करायी है। जिसमें अब कोरोना मरीजों को इलाज शुरू हो जायेगा। जिला कलेक्टर भगवती प्रसाद, माउण्ट आबू उपखण्ड अधिकारी अभिषेक सुराणा तथा आबू रोड तहसीलदार को इसकी जानकारी दी है। इस भवन में सभी सुविधायें उपलब्ध हैं।


फरवरी में कोरोना मरीजों से हुआ था मुक्त
पिछले वर्ष जब कोरोना की केस तेजी से बढऩे प्रारम्भ हुए थे। तब ब्रह्माकुमारीज संस्थान ने इसे को रोना मरीजों के इलाज के लिए दिया था। इसमें तकरीबन 11 महीने तक इसमें करोना मरीजों का इलाज चला और फरवरी में यह कोरोना मुक्त हो गया था। जिसका ब्रह्माकुमारीज संस्थान ने रंगरोगन कर योग साधना का कार्यक्रम प्रारम्भ कर दिया था। परन्तु दो महीने बाद ही कोरोना के केस तेजी से बढऩे के कारण ब्रह्माकुमारीज संस्थान ने इसे प्रशासन को दिया है। पिछले वर्ष कोरोना काल में यहॉं पर करोना मरीजोंं का रिकार्ड 99.2 प्रतिशत रिकवरी रहा। इस मानसरोवर आईसोलेसन सेंन्टर में मेडिसीन के साथ मेडिटेशन और अध्यात्म के लिए भी प्रेरित किया जाता रहा है जिससे सकारात्मक माहौल के कारण मरीज जल्दी ठीक हो जाते हैं। 

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