पाली पुलिस की मार से आहत युवक की मौत: 'मैं ओमप्रकाश टाइगर, जहां रहता हूं राजपूतों का शिकार करता हूं, डीजी लाठर साहब का खास हूं'

मेरे भाई को धमकी दी कि पाली छोड़ देना नहीं तो जान से मार दूंगा। ओमप्रकाश ने यह कहा कि मेरी पहुंच उपर तक है। तुम मेरा कुछ नहीं बिगाड़ सकते हो, पुलिस के सबसे बड़े अफसर लाठर साहब मेरे रिश्तेदार है। एसपी साहब भी मेरे से डरते हैं। मैं जहां चाहूं वहां रहता हूं।

'मैं ओमप्रकाश टाइगर, जहां रहता हूं राजपूतों का शिकार करता हूं, डीजी लाठर साहब का खास हूं'
ASI Omprakash Choudhary Pali

जयपुर | मैं जहां रहता हूं, राजपूतों का शिकार करता हूं। राजस्थान पुलिस के सबसे बड़े अफसर लाठर साहब मेरे रिश्तेदार हैं। पाली छोड़ देना, नहीं तो जीना हराम कर दूंगा। यह किसे गुण्डे—बदमाश—माफिया के शब्द नहीं बल्कि पाली कोतवाली थाने के एएसआई ओमप्रकाश के विरुद्ध दी गई आपराधिक रिपोर्ट के अंश हैं। पाली के युवक मुकनसिंह की मारपीट के बाद सल्फास खाने से मौत के मामले में एएसआई ओमप्रकाश को लाइन हाजिर किया है। वैसे इस रिपोर्ट के साथ बाली के विधायक पुष्पेन्द्रसिंह राणावत का पाली पुलिस को लेकर विधानसभा में दिया गया सम्बोधन देखें तो साफ है कि पाली पुलिस में ही गुण्डाराज पनप रहा है। इस मामले को लेकर परिजनों ने शव उठाने से इनकार कर दिया है और पुलिस के विरुद्ध प्रदर्शन किया जा रहा है।

Om Prakash ASI

युवक मुकन सिंह की मौत से पहले दी गई रिपोर्ट में उसकी बहन सागर कंवर ने रिपोर्ट दी कि उसका भाई मुकन सिंह नया बस स्टैंड के  पीछे अपनी दुकान महादेव मेन्स वियर के अंदर बैठा था। तभी अभियुक्त ओमप्रकाश एएसआई दुकान के अंदर घुसा तथा दुकान के अंदर बैठे मेरे  भाई को बस स्टैंड चौकी ले गया। जहां बसस्टैंड चौकी के अंदर ले जाकर मेरे भाई के साथ ओमप्रकाश ने बेरहमी से मारपीट की। अभियुक्त ओमप्रकाश ने अपना पेशाब जबरदस्ती मेरे भाई को पिलाया।

Must Read : ओमप्रकाश टाइगर की हकीकत : यह चौथा मामला जिसमें मारपीट से मौत, फिर भी अफसर मेहरबान क्यों है

रिपोर्ट में लिखा है कि अभियुक्त ओमप्रकाश राजपूत जाति से व्यक्तिगत दुर्भावना रखता है। मेरे भाई के साथ मारपीट करते यह धमकी दे रहा था कि मैं जहां रहता हूं, वहां राजपूतों का शिकार करता  हूं। मेरी माता भावना कंवर व भाई मंगल सिंह व गणपत सिंह को जब पता चला कि मुकन सिंह को चौकी ले गए तो पीछे चौकी गए तथा अभियुक्त ओमप्रकाश को विनती की मुकनसिंह को छोड़ दो। तो मेरी माता से ओमप्रकाश ने धक्का,मुक्की की। मेरी माता को कहा कि मेरे पैर पड़ो तो कुछ सोचता हूं। दबाव डालकर मेरी माता के पैर पकड़ने को मजबूर किया। फिर माता व भाई के सामने ही मेरे भाई के साथ मारपीट की। तथा प्राईवेट पार्ट में लातें मारीं। मेरे भाई को धमकी दी कि पाली छोड़ देना नहीं तो जान से मार दूंगा। ओमप्रकाश ने यह कहा कि मेरी पहुंच उपर तक है। तुम मेरा कुछ नहीं बिगाड़ सकते हो, पुलिस के सबसे बड़े अफसर लाठर साहब मेरे रिश्तेदार है। एसपी साहब भी मेरे से डरते हैं। मैं जहां चाहूं वहां रहता हूं।

अभियुक्त ने मेरे भाई के साथ रातभर मारपीट कर शारीरिक व मानसिक रूप से प्रताड़ित किया। मारपीट की वजह से मेरा भाई गंभीर घायल हुआ। तो मेरे भाई को देर रात छोड़ दिया। फिर मेरे भाई को  धमकी दी कि तुझे व तेरे परिवार का जीना हराम कर दूंगा। फिर सुबह करीब 7 बजे पुन:ओमप्रकाश मेरे घर के अंदर घुसा व मेरी माता को धमकी दी कि तेरा लड़का अभी तक जिंदा है। थोड़ी देर में वापस आ रहा हूं। मुकन सिंह को लेकर जाउंगा। रात भर मानसिक व शारीरिक रूप से परेशान करने व मां—भाई को अपमानित करने के दबाव में मेरे भाई ने जहर खा लिया।​ 

पुलिस की कलाकारी
इस मामले में निरीक्षक सुरेश चौधरी ने रिपोर्ट दर्ज की और एसपी ने एएसआई को लाइन हाजिर किया। परन्तु यहां पुलिस ने साफ तौर पर कलाकारी की है। पुलिस ने जो एफआईआर दर्ज की है। उसमें रसूखात की बात तो लिखी है, लेकिन डीजी की रिश्तेदारी वाले आरोप का उल्लेख हटा दिया है। टाइपसुदा रिपोर्ट होने के बावजूद थाने में ही डीजी लाठर का नाम हटाते हुए पुन:रिपोर्ट हाथ से लिखी गई। इससे यह नजर आता है कि पाली पुलिस की मंशा इस मामले में साफ नहीं है। मामला आईपीसी की 323 और 342 जैसी सामान्य धारा में दर्ज किया है। जबकि इसमें गंभीर चोट है, जिससे युवक को रेफर करना पड़ा। साधारण धाराओं में मामला दर्ज कर अफसरों ने यह साबित किया है कि ओमप्रकाश के पक्ष में पुलिस बड़े दबाव में है।

यह है मामला
शहर के सुमेरपुर मार्ग-केशव नगर इलाके में रहने वाले मुकनसिंह मंगलवार सुबह सल्फास की गोलियां खा ली। तबीयत बिगड़ने पर उसे बांगड़ अस्पताल लाया गया, जहां से बाद में जाेधपुर रेफर कर दिया। जाेधपुर के एम्स अस्पताल में उसे वेंटिलेटर पर रखा और बाद में उसकी मौत हो गई। मारपीट से युवक के एक पैर में फ्रैक्चर भी बताया जा रहा है। एसपी राजन दुष्यंत ने एएसआई ओमप्रकाश को लाइन हाजिर कर दिया है। कोतवाली पुलिस ने युवक की बहन सागर कंवर की रिपाेर्ट पर मुकदमा दर्ज किया है। मानवाधिकार आयोग के अध्यक्ष जस्टिस जीके व्यास ने प्रसंज्ञान लेकर एसपी से रिपोर्ट मांगी है।

जानकारी के अनुसार पाली में ही रहने वाले राहुल सांसी नामक युवक ने माेबाइल चाेरी हाेने की रिपाेर्ट दी थी। जांच के दाैरान पता चला कि यह माेबाइल केशव नगर में रहने वाले मुकुनसिंह पुत्र नाथूसिंह राजपूत के पास है। युवक के रेडिमेड की दुकान है। परिजनाें का कहना है कि उक्त माेबाइल एक युवक ने 3 हजार रुपए में गिरवी रखा था।

मानवाधिकार आयोग के अध्यक्ष ने एसपी से मांगी रिपोर्ट
इस पर मौके पर सीओ सिटी अनिल सारण भी पहुंचे और युवक के परिजनों से समझाइश की। मौके पर पहुंचे पार्षद हकीम भाई ने मामले में निष्पक्ष जांच की मांग की। थाना प्रभारी ने बताया कि युवक की बहन की रिपाेर्ट पर पुलिस ने मामला किया था।

इस मामले में युवक की बहन ने पुलिस में रिपाेर्ट दी है। चाैकी प्रभारी ओमप्रकाश चाैधरी काे तत्काल लाइन हाजिर कर दिया है। साथ ही विभागीय स्तर पर भी जांच कराई जा रही है। -राजन दुष्यंत, एसपी, पाली

Must Read: रात आठ बजे बाद भी शराब की दुकाने खुली, पुलिस बनी मूकदर्शक

पढें जालोर खबरें, ताजा हिंदी समाचार (Latest Hindi News) के लिए डाउनलोड करें First Bharat App.

  • Follow us on :