Politics of Rajasthan: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज राजस्थान में, पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे की अचानक सक्रियता ने बढ़ाई राजनीतिक हलचल।
वसुंधरा राजे की सक्रियता ने सियासी गलियारों में हलचल पैदा कर दी है। शनिवार को राजे ने अपने निवास आवास पर रक्षासूत्र कार्यक्रम नाम से आयोजित किया, जिसमें भारी संख्या में महिलाएं शामिल हुईं थी। रविवार को भी उन्होंने रामलीला मैदान में आयोजित मातृशक्ति समागम कार्यक्रम को संबोधित किया था।
जयपुर। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का परिवर्तन यात्रा को लेकर आज राजस्थान दौरा है, इस बीच अचानक वसुंधरा राजे की सक्रियता ने सियासी गलियारों में हलचल पैदा कर दी है। शनिवार को राजे ने अपने निवास आवास पर रक्षासूत्र कार्यक्रम नाम से आयोजित किया, जिसमें भारी संख्या में महिलाएं शामिल हुईं थी। रविवार को भी उन्होंने रामलीला मैदान में आयोजित मातृशक्ति समागम कार्यक्रम को संबोधित किया था।
इसके अतिरिक्त राजे ने बीजेपी प्रदेश मुख्यालय में आयोजित कोर कमेटी की बैठक में भी हिस्सा लिया। वसुंधरा राजे की सक्रियता से अचानक राजनीतिक गलियारों में हलचल पैदा हो गई है। ज्ञात हो कि वसुंधरा राजे अपने चुनावी क्षेत्र में भी परिवर्तन यात्रा का हिस्सा नहीं बनी थी, जब दो दो बाहरी राज्यों के मुख्यमंत्री वहां पहुंच गए थे।
हालांकि खबरों के अनुसार इसका कारण दिल्ली में होना बताया था लेकिन वसुंधरा राजे की नाराजगी किसी से छुपी नहीं है। राजस्थान की राजनीति में उनकी अनुपस्थिति भाजपा को हमेशा खलती है, ऐसे में प्रधानमंत्री दौरे से पूर्व उनकी उपस्थिति भाजपा केलिए शुभ संकेत है।
राजे की सक्रियता के कारण -
वैसे तो वसुंधरा राजे की सक्रियता के अनेक कारण हो सकते हैं लेकिन एक कारण यह हो सकता है कि शायद वह राजस्थान विधानसभा चुनाव में अपनी भूमिका को स्पष्ट करना चाहती हैं। माना तो जा रहा था कि वह चुनाव में भाजपा की स्टार प्रचारक के रूप में कार्य करेंगी, लेकिन उन्हें कोई आधिकारिक जिम्मेदारी नहीं सौंपी गई है।
दूसरा कारण यह भी हो सकता है कि वह भाजपा के अंदरूनी नाराजगी को समाप्त करना चाहती हैं। सबको पता है कि राजे और केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत के बीच पिछले कुछ समय से मतभेद सामने आ रहे हैं, ऐसे राजे की सक्रियता से इन मतभेदों को खत्म करने की कोशिश की जा सकती है। शेखावत की मुलाकात भी इस ओर इशारा कर रही है।
राजे की सक्रियता के राजनीति में प्रभाव -
पूर्व मुख्यमंत्री राजे की सक्रियता से राजस्थान की राजनीति में हलचल तो पैदा हो गई है। यह भी माना जा रहा है कि यह हलचल आने वाले विधानसभा चुनाव में भी देखने को मिलेगी।
राजे की सक्रियता ने साफ कर दिया है कि वह राजस्थान की राजनीति में फिर से सक्रिय भूमिका निभाने के लिए तैयार हैं। यह देखना होगा कि आने वाले विधानसभा चुनाव में उनकी सक्रियता कितनी कारगर होती है।